लखनऊ:- उत्तर प्रदेश की विधान सभा में किसी सत्र की कार्यवाही का पूरा एक दिन सिर्फ महिला सदस्यों को बोलने के लिये आरक्षित करने की अनूठी पहल की गयी है।
विधान सभा के 19 सितंबर से शुरू हो रहे मानसून सत्र के दौरान 22 सितंबर का दिन दोनों सदनों की महिला सदस्यों के लिए आरक्षित रखा है। विधान सभा अध्यक्ष सतीश महाना की मौजूदगी में रविवार को सर्वदलीय बैठक में यह जानकारी दी गयी। देश में यह पहला अवसर होगा जब किसी विधान सभा में पूरा एक दिन महिला सदस्यों के लिये आरक्षित हाेगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस पहल का स्वागत किया। उन्होंने भाजपा और अन्य सहयोगी दलों के विधानसभा एवं विधान परिषद सदस्यों को संबोधित करते हुए कहा, “इस बार के मानसून सत्र में हमने 22 सितंबर का दिन दोनों सदनों की महिला सदस्यों के लिए आरक्षित रखा है। देश की किसी विधानसभा में ऐसा पहली बार हो रहा है।”
उन्होंने कहा कि 22 सितंबर को विधान सभा की 47 और विधान परिषद की 6 महिला सदस्य ही अपना विषय सदन में प्रस्तुत करेंगी। उन्होंने महिला सदस्यों से अनुरोध किया कि वह राज्य सरकार द्वारा प्रदेश की महिलाओं की सुरक्षा, सम्मान और स्वावलम्बन के दृष्टिगत चलाए जा रहे ‘मिशन शक्ति’ कार्यक्रम के विषय में जरूर बोलें। योगी ने संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना से अनुरोध किया कि इस दिन को विशेष बनाने के लिए महिला सदस्यों को दोनों सदनों में पीठासीन अधिकारी बनायें।
योगी ने कहा कि जब विधानमंडल की कार्यवाही चल रही हो, उस दौरान पूरी तन्मयता के साथ सभी सदस्य उसमें हिस्सा लें। साथ ही अपने आचरण और समय का विशेष ध्यान रखें। उन्होंने कहा कि जो सदस्य सदन की कार्यवाही में शामिल नहीं हो पा रहे हैं वो अपने सचेतक को इसकी जानकारी दे दें, जिससे समय पर कार्यवाही प्रारम्भ हो सके। भाजपा एवं सहयोगी दल के सभी सदस्य तय समय और ज्यादा से ज्यादा समय तक सदन में मौजूद रहें। इस दौरान सरकार के सभी कार्यों का समर्थन करें और अपनी मजबूत स्थिति का एहसास कराएं।
योगी ने कहा, “हम सत्ता पक्ष के सदस्य हैं, उसी अनुरूप व्यवहार करें, जिससे आमजन में अच्छा संदेश जाए। सभी सदस्य तथ्यों पर आधारित ठोस तरीके से अपनी बात रखें। विधानसभा की पूरी कार्यवाही रिकॉर्ड पर जाती है। भविष्य में जब कोई आपका भाषण पढ़े तो उसे गौरव की अनुभूति हो।”
उन्होंने कहा कि कहा कि सभी मंत्री सदन में अपनी बात पूरी मजबूती के साथ रखें। लम्पी वायरस ज्वलंत मुद्दा है। इस कारण राजस्थान समेत कई राज्यों में स्थितियां खतरनाक हैं। उत्तर प्रदेश में अच्छा कार्य हुआ है इसको देखते हुए पशुधन मंत्री अपनी बात दोनों सदन में लिखित में रखें। योगी ने कहा कि विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं है, इसलिए वह सदन की कार्यवाही में व्यवधान डालने की कोशिश करेगा। विपक्ष के अंदर एक नकारात्मकता है। उन्हाेंने कहा, “ये बात प्रदेश की जनता भी जानती है और उनसे वैसे ही व्यवहार की अपेक्षा भी करती है। इस बात का विशेष ध्यान रखें कि हम अपनी तरफ से बेरोजगार विपक्ष को कोई मुद्दा न दें।”
योगी ने कहा कि 25 सितंबर को पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी की जयंती है। इसको विशेष बनाने के लिए बूथ स्तर पर कार्यक्रमों का आयोजन हो और दीनदयाल जी के विचारों और कार्यों के बारे में लोगों बतायें। गांधी जयंती के अवसर पर दो अक्टूबर को गांधी आश्रम में जाकर खादी की कोई न कोई वस्तु जरूर खरीदें। इससे खादी को लेकर समाज में एक अच्छा संदेश जाएगा। वोकल फॉर लोकल के कार्यक्रम से जुड़ने की बात कहते हुए उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए इस कार्यक्रम को जमीनी स्तर तक ले जाएं। सीएम योगी ने कहा कि सत्र के पहले दिन सभी सदस्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा लगाए गए मेडिकल कैम्प में अपना मेडिकल चेकअप जरूर कराएं।
बैठक में संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना, उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक के साथ ही सदन के मुख्य सचेतक रामनरेश अग्निहोत्री, भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह, भाजपा के प्रदेश संगठन महामंत्री धर्मपाल सिंह, सहयोगी दल अपना दल (एस) के अध्यक्ष आशीष पटेल और निषाद पार्टी के अध्यक्ष संजय निषाद मौजूद रहे।