
ब्रिस्बेन:- भारत ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे और निर्णायक टेस्ट के पहले दिन शुक्रवार को अपनी एकादश में चार बदलाव किए जबकि मेजबान टीम में मार्नस लाबुशेन (108) के शानदार शतक से शुरुआती झटकों से संभलकर स्टंप्स तक पांच विकेट पर 274 रन बना लिए। पहले दिन का खेल खत्म होने तक कप्तान टिम पेन 62 गेंदों में पांच चौकों की मदद से 38 रन और कैमरुन ग्रीन 70 गेंदों में तीन चौकों की मदद से 28 रन बनाकर क्रीज पर मौजूद हैं। दोनों बल्लेबाजों के बीच छठे विकेट के लिए अबतक 61 रन की साझेदारी हो चुकी है। सिडनी में तीसरा टेस्ट ड्रॉ कराने के बाद भारतीय टीम अपनी चोटिल खिलाड़ियों की समस्या से जूझ रही थी और उसने मैच की पूर्व संध्या तक अपनी एकादश का ऐलान नहीं किया। सुबह मैच के लिए टॉस होने के बाद जो एकादश सामने आयी उसमें चार बदलाव किए गए थे। चोटिल होने के कारण तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह, अनुभवी ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन, मध्यक्रम के बल्लेबाज हनुमा विहारी और रवींद्र जडेजा की जगह टीम में बाएं हाथ के तेज गेंदबाज टी नटराजन, ऑलराउंडर वाशिंगटन सुंदर, शार्दुल ठाकुर और मयंक अग्रवाल को शामिल किया गया है।
इससे पहले टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी ऑस्ट्रेलिया को शुरुआती झटके लगे और उसके तीन विकेट 87 रन पर ही गिर गए। इसके बाद लाबुशेन ने लड़खड़ाती ऑस्ट्रेलियाई पारी को संभाला और शानदार बल्लेबाजी करते हुए 204 गेंदों में नौ चौकों की मदद से 108 रन बनाए।
भारत के गेंदबाजों ने लंच तक ऑस्ट्रेलिया के दो विकेट 65 रन पर गिराकर उसे शुरुआती झटके दिए। तेज गेंदबाज मोहम्मद सिराज ने पहले ही ओवर में बाएं हाथ के अनुभवी सलामी बल्लेबाज डेविड वार्नर को रोहित शर्मा के हाथों कैच आउट कराकर ऑस्ट्रेलिया को पहला झटका दे दिया। वार्नर ने चार गेंदों में एक रन बनाए। सिराज ने वार्नर को इस सीरीज में दूसरी बार अपना शिकार बनाया।
चोटिल विल पुकोवस्की की जगह टीम में शामिल किए गए मार्कस हेरिस भी कुछ ख़ास नहीं कर सके और अपना दूसरा टेस्ट मैच खेल रहे शार्दुल ठाकुर ने वाशिंगटन सुंदर के हाथों कैच कराकर उनका विकेट लिया। हेरिस ने 23 गेंदों में केवल पांच रन बनाये। ऑस्ट्रेलिया का पहला विकेट चार जबकि दूसरा विकेट 17 रन के स्कोर पर गिरा। इन दोनों सलामी बल्लेबाजों के आउट होने के बाद स्टीवन स्मिथ और लाबुशेन ने हालांकि लड़खड़ाती ऑस्ट्रेलियाई पारी को संभालने की कोशिश की और दोनों के बीच तीसरे विकेट के लिए 70 रन की साझेदारी की। यह साझेदारी और बड़ी होती उससे पहले ही वाशिंगटन सुंदर ने स्मिथ को रोहित के हाथों कैच कराकर पवेलियन भेजा। स्मिथ ने 77 गेंदों में पांच चौकों की मदद से 36 रन बनाए। स्मिथ का विकेट 87 के स्कोर पर गिरा और यहां से लाबुशेन ने मैथ्यू वेड के साथ पारी को आगे बढ़ाया और शानदार बल्लेबाजी करते हुए चौथे विकेट के लिए 113 रन की साझेदारी की तथा अपने टेस्ट करियर का पांचवां शतक जड़ा। अपना पहला टेस्ट मुकाबला खेल रहे बाएं हाथ के तेज गेंदबाज टी नटराजन ने ठाकुर के हाथों कैच कराकर वेड को आउट कर कंगारु टीम को चौथा झटका दिया। वेड ने 87 गेंदों में छह चौकों की मदद से 45 रन बनाए। भारत के गेंदबाजों ने लंच तक ऑस्ट्रेलिया के दो विकेट 65 रन पर गिराकर उसे शुरुआती झटके दिए। तेज गेंदबाज मोहम्मद सिराज ने पहले ही ओवर में बाएं हाथ के अनुभवी सलामी बल्लेबाज डेविड वार्नर को रोहित शर्मा के हाथों कैच आउट कराकर ऑस्ट्रेलिया को पहला झटका दे दिया। वार्नर ने चार गेंदों में एक रन बनाए। सिराज ने वार्नर को इस सीरीज में दूसरी बार अपना शिकार बनाया।
चोटिल विल पुकोवस्की की जगह टीम में शामिल किए गए मार्कस हेरिस भी कुछ ख़ास नहीं कर सके और अपना दूसरा टेस्ट मैच खेल रहे शार्दुल ठाकुर ने वाशिंगटन सुंदर के हाथों कैच कराकर उनका विकेट लिया। हेरिस ने 23 गेंदों में केवल पांच रन बनाये। ऑस्ट्रेलिया का पहला विकेट चार जबकि दूसरा विकेट 17 रन के स्कोर पर गिरा।
इन दोनों सलामी बल्लेबाजों के आउट होने के बाद स्टीवन स्मिथ और लाबुशेन ने हालांकि लड़खड़ाती ऑस्ट्रेलियाई पारी को संभालने की कोशिश की और दोनों के बीच तीसरे विकेट के लिए 70 रन की साझेदारी की। यह साझेदारी और बड़ी होती उससे पहले ही वाशिंगटन सुंदर ने स्मिथ को रोहित के हाथों कैच कराकर पवेलियन भेजा। स्मिथ ने 77 गेंदों में पांच चौकों की मदद से 36 रन बनाए।
स्मिथ का विकेट 87 के स्कोर पर गिरा और यहां से लाबुशेन ने मैथ्यू वेड के साथ पारी को आगे बढ़ाया और शानदार बल्लेबाजी करते हुए चौथे विकेट के लिए 113 रन की साझेदारी की तथा अपने टेस्ट करियर का पांचवां शतक जड़ा। अपना पहला टेस्ट मुकाबला खेल रहे बाएं हाथ के तेज गेंदबाज टी नटराजन ने ठाकुर के हाथों कैच कराकर वेड को आउट कर कंगारु टीम को चौथा झटका दिया। वेड ने 87 गेंदों में छह चौकों की मदद से 45 रन बनाए।
वेड के आउट होने के बाद नटराजन ने एक बार फिर शानदार गेंदबाजी करते हुए रिषभ पंत के हाथों आउट कराकर लाबुशेन को पवेलियन भेजा। नटराजन का मैच में यह दूसरा विकेट था और लाबुशेन को आउट कर उन्होंने ऑस्ट्रेलिया को बड़ा झटका दिया। लाबुशेन का विकेट 213 रन के स्कोर पर गिरा।
इसके बाद पेन और ग्रीन ने पारी को आगे बढ़ाया और टीम को मजबूती दी। दोनों बल्लेबाज दिन का खेल खत्म होने तक क्रीज पर डटे रहे। पेन और ग्रीन ने अंत के ओवरों में भारतीय गेंदबाजों को खासा परेशान किया और उन्हें विकेट लेने का कोई मौका नहीं दिया।
यह दोनों बल्लेबाज दूसरे दिन ऑस्ट्रेलियाई पारी को गति देने की कोशिश करेंगे और टीम को मजबूत स्कोर पर ले जाना चाहेंगे जबकि भारतीय गेंदबाज कंगारु टीम की पारी को जल्द समेट कर मैच में वापसी करना चाहेंगे।
भारत की ओर से नटराजन ने 20 ओवर में 63 रन देकर दो विकेट, सिराज ने 19 ओवर में 51 रन देकर एक विकेट, सुंदर ने 22 ओवर में 63 रन देकर एक विकेट और ठाकुर को 18 ओवर में 67 रन देकर एक विकेट मिला जबकि नवदीप सैनी 21 रन देकर खाली हाथ रहे।
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